ग्रेटर नोएडा वेस्ट के लोगों को जहां अभी तक मेट्रो के लिए इंतजार करना पड़ रहा था वहीं पब्लिक ट्रांसपोर्ट के लिए तरस रही जनता के लिए इसे भगवान का आशीर्वाद समझिए कि एक साथ दो-दो गिफ्ट मिलने की तैयारी हो गई है जहां एक और मेट्रो के रूट के फाइनल अप्रूवल पीएमओ से जल्द होने की उम्मीद की जा रही है वही यहां पर आरआरटीएस का रूट भी जल्द फाइनल होने की संभावना बन गई है
इसके लिए ग्रेटर नोएडा और ग्रेटर नोएडा वेस्ट को आरआरटीएस से जोड़ने के लिए रूट तय करने पर बृहस्पतिवार को अहम बैठक हुई। एनसीआरटीसी की टीम ने ग्रेनो प्राधिकरण के सीईओ एनजी रवि कुमार के समक्ष आरआरटीएस के लिए 3 वैकल्पिक रूटों पर प्रस्तुतिकरण दिया। सीईओ ने ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण और एनसीआरटीसी की संयुक्त टीम बनाकर इन तीनों ही वैकल्पिक रूटों का सर्वे करने के बाद फाइनल करने के निर्देश दिए।
प्राधिकारण में हुई बैठक में ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण के एसीईओ आशुतोष द्विवेदी, एसीईओ सुनील कुमार सिंह, जीएम वित्त विनोद कुमार, जीएम प्लानिंग लीनू सहगल, जीएम प्रोजेक्ट हिमांशु वर्मा, ओएसडी नवीन कुमार सिंह, वरिष्ठ प्रबंधक सुधीर कुमार व एनसीआरटीसी के अधिकारीगण मौजूद रहे।
आपको बता दें कि, ग्रेटर नोएडा व ग्रेटर नोएडा वेस्ट को जोड़ते हुए नोएडा एयरपोर्ट जेवर तक आरआरटीएस चलाने की योजना है। इसे दिल्ली-मेरठ आरआरटीएस से जोड़ा जाएगा। यह रूट गाजियाबाद के सिद्धार्थ विहार से ग्रेटर नोएडा वेस्ट के चार मूर्ति चैक (गौड़ चैक) होते हुए एयरपोर्ट तक बनेगा। चार मूर्ति चैक से आरआरटीएस के तीन वैकल्पिक रूटों का सुझाव दिया गए हैं। पहला रूट, चार मूर्ति चैक से 130 मीटर चैड़ी रोड पर प्राधिकरण दफ्तर और परी चैक होते हुए नोएडा एयरपोर्ट तक प्रस्तावित किया गया है। दूसरा रूट, 60 मीटर रोड से होकर और तीसरा रूट चार मूर्ति चैक से नाॅलेज पार्क-5, सूरजपुर और कासना होते हुए नोएडा एयरपोर्ट ले जाने का सुझाव है।
संभावना है कि 130 मीटर पर मेट्रो का रूट फाइनल हो चुका है ऐसे में 60 मीटर वाले रूट पर नॉलेज पार्क होते हुए ही फाइनल होगा । ऐसे में ग्रेटर नोएडा वेस्ट के लोगों के दोनों हाथों में लड्डू होने लगते हैं और पब्लिक ट्रांसपोर्ट को लेकर चली आ रही लंबी शिकायत जल्द ही दूर हो जाएगी।
प्राधिकरण के सूत्रों के अनुसार एनजी रवि कुमार ने कहा है कि जो भी रूट फाइनल करें, वह वर्तमान के साथ ही भविष्य में ट्रैफिक की जरूरतों के हिसाब से होना चाहिए, ताकि ग्रेटर नोएडावासियों को कहीं पर भी कंजेशन की परेशानी न झेलनी पड़े।