आशु भटनागर । दिल्ली चुनाव की घोषणा होते ही दिल्ली में बड़े राजनीतिक दलों के बीच चुनाव जीतने के लिए संघर्ष तेज हो गया है । आम आदमी पार्टी और भारतीय जनता पार्टी जहां इस पूरे खेल में आमने-सामने नजर आ रहे हैं वहीं इस द्विपक्षीय लड़ाई को त्रिकोणीय बनाने का काम कांग्रेस इस बार जबरदस्त तरीके से कर रही है । दोनों ही राजनीतिक दल दिल्ली में इस बार अपनी अपनी खोई हुई जमीनों पाने के लिए आम आदमी पार्टी के खिलाफ एक से बढ़कर एक तैयारी करता दिख रहे हैं । कांग्रेस जहां आम आदमी पार्टी की फ्री योजनाओं के विरुद्ध एक के बाद एक नई गारंटी स्कीम ला रही है वहीं भारतीय जनता पार्टी भी आम आदमी पार्टी और कांग्रेस के सामने दिल्ली वासियों के लिए नई-नई योजनाएं सामने ला रही है ।
दिल्ली चुनाव को लेकर भारतीय जनता पार्टी जहां इस बार करो या मरो की स्थिति में है, आम आदमी पार्टी किसी तरह से गिर पड़ कर सरकार बनाकर सरकार बचाने में लगी है । वहीं कांग्रेस हार जीत से परे 15 से 20 सीटों पर अपनी स्थिति मजबूत करने की लड़ाई लड़ने में लगी हुई है। इन सब के अलावा वोट काटने के लिए बहुजन समाज पार्टी, AIMIM समेत कई छोटी पार्टियों भी चुनाव में अपने-अपने भाग्य आजमाने के लिए उतर चुकी है।
किंतु इस सब के बीच राजनीतिक दलों की नजर इस बार दिल्ली एनसीआर में मौजूद सोशल मीडिया इनफ्लुएंसर पर भी पड़ चुकी है । ऐसे राजनीतिक दल सोशल मीडिया इन्फ्लुएंस के जरिए युवा वोटरों पर अपनी चुनावी प्रचार की रणनीति को अंजाम देने में लग गए हैं एक रिपोर्ट के अनुसार सोशल मीडिया पर इन दोनों अच्छी रीच वाले इनफ्लुएंसर्स को 10 घंटे के लिए अपनी स्टोरी लगाने पर₹300 दिए जा रहे हैं तो वहीं पर पोस्ट 5000 से लेकर 10000 तक ऑफर किया जा रहे हैं ।
2025 के चुनाव में तीनों ही राजनीतिक दलों के सामने बड़ी समस्या वो युवा वोटर हैं। जिन्हें बीते 15 साल की राजनीति से अंजान माना जा रह है और राजनीतिक दलों पर इनको अपने पक्ष में करने की चाहत चुनाव में सबके लिए बड़ी समस्या है । यह लोग परंपरागत तरीके से अखबार और टीवी चैनलों से दूर होते हैं अक्सर सोशल मीडिया पर ही अपनी बातें करते पाए जाते हैं
सोशल मीडिया इन्फ्लुएंसर के साथ-साथ टीवी से रिटायर हुए चुके पत्रकारों को इंटरव्यूज और माहौल बनाने के लिए 25 से 50 लाख रुपए तक ऑफर किया जा रहे हैं। बताया जा रहा है कि इस पूरे खेल में राजनीतिक दलों ने क्षेत्र में मौजूद सोशल मीडिया इन्फ्लुएंसर और रिटायर होकर यूट्यूब चैनल चला रहे पत्रकारों को अपने-अपने पक्ष में माहौल बनाने का काम पूरी तरीके से दे दिया है । जिसके बाद दिल्ली से लेकर लखनऊ तक के पत्रकार यूट्यूबर अपने-अपनी कैपेसिटी में दिल्ली चुनाव में अपने अपने राजनैतिक दलों ओर उनके नेताओं को लेकर माहौल बनाने के काम में लग चुके हैं ।
न्यूज़ और मीडिया पर समाचार देने वाली कई वेबसाइट्स पर कुछ बड़े इंटरव्यूज के लिए 55 लाख रुपए तक दिए जाने की चर्चाएं चल रही है । ऐसे में इस पूरे खेल में इस बार लेफ्ट नॉरेटिव सेंटर के साथ-साथ राइट विंगर्स की बड़ी अपॉर्चुनिटी मिलने से कई लोगों की नैतिकता तक जाग गई है ।
ऐसे में दिल्ली चुनाव राजनीतिक दलों के लिए अखबारों इलेक्ट्रॉनिक चैनल और न्यूज वेबसाइट के बाद बड़े सोशल मीडिया इन्फ्लुएंस के जरिए माहौल बनाने वाला बड़ा चुनाव होने जा रहा है। सभी को अब सोशल मीडिया इनफ्लुएंसर का ही सहारा दिखाई दे रहा है और चुनाव में ये सब कितना काम आने वाला है यह आने वाले दिनों में दिखाई देगा ।